प्यार कब और किससे हो जाए यह कहा नहीं जा सकता। फिल्मी दुनिया की बात करें तो अक्सर प्यार की चिंगारी साथ फिल्म करने के दौरान लगती है। बॉलीवुड में आपको ऐसे कई किस्से मिल जाएंगे जहां साथ फिल्म करने के दौरान लीड एक्टर्स एक दूसरे को अपना दिल दे बैठे। वर्तमान दौर की बात करें तो आए दिन फिल्म के सेट पर लव स्टोरीज बनती हैं लेकिन समय के साथ यह कहीं खो जाती हैं। लेकिन आप बॉलीवुड के पुराने दिनों को देखें तो वहां आपको कुछ लव स्टोरीज ऐसी मिल जाएंगी जो आज भी लोगों की जुबां पर हैं। यह ऐसी प्रेम कहानियां हैं जिनका अंत सुखद नहीं रहा। इन सितारों ने प्यार की राह तो पकड़ी लेकिन वह मंजिल तक नहीं पहुंच सके। आइए वैलेंटाइन डे के मौके पर आपको ऐसी ही कुछ नाकाम प्रेम कहानियों के बारे में बताते हैं…।
वहीदा-गुरुदत्त
गुरुदत्त का नाम आए और वहीदा रहमान की बात ना हो ऐसा हो नहीं सकता। गुरुदत्त ने जब पहली बार वहीदा को अपनी फिल्म में साइन किया था तब शायद उन्होंने सोचा भी नहीं होगा कि वे उनके दिल पर कब्जा कर लेंगी। गुरुदत्त ने नेगेटिव किरदार के जरिए वहीदा को ब्रेक दिया। इसके बाद वहीदा उनके दिल पर ऐसी छाईं कि उन्होंने कई फिल्मों में वहीदा को अपने साथ लिया। नतीजन वे उनके करीब आ गए। वहीदा भी अपने दिल पर काबू ना रख सकीं और उनके नज़दीक आ गईं लेकिन पहले से शादीशुदा गुरुदत्त के अपनी पत्नी गीता दत्त से रिश्ते खराब होने लगे। इस कारण वहीदा ने गुरुदत्त से दूरी बनाना शुरू कर दिया लेकिन यह गुरुदत्त को नागवार गुजरा। वे इससे काफी आहत हुए और शराब को अपना साथी बना लिया। आज भी गुरुदत्त की मौत को वहीदा से जोड़कर देखा जाता है। वहीदा भी कभी इस टॉपिक पर बात करना पसंद नहीं करती हैं।
मधुबाला-दिलीप
हर फिल्मी जोड़े की तरह मधुबाला और दिलीप कुमार को भी साथ काम करने के दौरान प्यार हो गया था। दिलीप इस कद़र मधुबाला को चाहने लगे थे कि अपने इस प्यार को रिश्ते में बदलना चाहते थे। लेकिन मधुबाला के पिता ऐसा नहीं चाहते थे और वे मधुबाला को दिलीप से दूर रहने के लिए कहा करते थे। नतीजन मधुबाला और दिलीप के बीच दूरियां आ गईं। दिलीप ने सायरो बानो से शादी कर ली, वहीं मधुबाला ने किशोर कुमार से। दोनों के बीच दूरियां इतनी बढ़ गई थीं कि दोनों बाद में एक दूसरे के सामने आना भी पसंद नहीं करते थे।
सुरैया-देवानंद
फिल्म इंडस्ट्री से जुड़ा हर शख्स जानता है कि देवानंद, सुरैया से कितना प्यार करते थे। फिल्म ‘जीत’ के सेट पर देवानंद ने सुरैया को प्रपोज किया था और उस समय तीन हजार की हीरे की अंगूठी दी थी। लेकिन हर लव स्टोरी की तरह इसमें भी सुरैया की नानी विलेन के रूप में शामिल थीं। वे नहीं चाहती थीं कि सुरैया, देव के करीब आए क्योंकि दोनों अलग जाति के थे। नानी इस रिश्ते के खिलाफ थीं और हमेशा विरोध किया करत थीं। यहां तक की नानी ने दोनों की आपस में फोन पर बात भी बंद करवा दी थी। इतना विरोध देखते हुए दोनों अलग हो गए और साथ में फिल्म करना बंद कर दिया। देवानंद ने अपनी बायोग्राफी ‘रोमांसिंग विद लाइफ’ में लिखा था कि सुरैया के साथ अगर जिंदगी होती तो वो कुछ और होती।
नर्गिस-राजकपूर
नर्गिस के साथ राजकपूर की कैमिस्ट्री जितनी शानदार पर्दे पर थी उससे कहीं ज्यादा पर्सनल लाइफ में। दोनों एक दूसरे के प्यार में पागल थे। हालत ये थे कि राजकपूर घर का खाना नहीं खाते थे बल्कि नर्गिस के टिफिन का इंतजार किया करते थे। लेकिन पृथ्वीराज कपूर नहीं चाहते थे कि नर्गिस और राजकपूर का रिश्ता आगे बढ़े। लेकिन राजकपूर प्यार में दीवाने थे। दूसरी तरफ सच यह भी था कि राजकपूर शादीशुदा थे और वे नर्गिस के कभी नहीं हो सकते थे। यह बात नर्गिस को समझ आ गई थी और उन्होंने राजकपूर से दूरी बनाना शुरू कर दिया था। फिर फिल्म ‘मदर इंडिया’ के सेट पर वे सुनील दत्त के करीब आ गईं और इस रिश्ते में हमेशा के लिए बंध गईं।
रेखा-अमिताभ
आज भी रेखा और अमिताभ के किस्से फिल्मी गलियारों में गूंजते हैं। दोनों की जोड़ी जितनी अच्छी पर्दे पर लगती थी उतनी ही अच्छी असल जिंदगी में भी लगती थी। दोनों ही एक दूसरे के प्यार में पागल थे। उनके फैंस भी चाहते थे असल जिंदगी में भी यह जोड़ी साथ नज़र आए लेकिन ऐसा हो नहीं सका। दरअसल अमिताभ की जिंदगी में जया पहले से मौजूद थीं। जब रेखा और अमिताभ करीब थे, वह ये बात अच्छे से जानती थीं लेकिन उन्होंने अपने दिल की बातों को दबाकर रखा। धीरे—धीरे अमिताभ को भी अहसास हो गया था कि वे कुछ गलत कर रहे हैं। उन्होंने अपने कदम खींच लिए और इस रिश्ते को खत्म कर दिया। रेखा ने भी कभी खुलकर अपने इस रिश्ते पर बात नहीं की।