केंद्र सरकार देश में चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए लगातार प्रयासरत है। इसी क्रम में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने एक सुझाव दिया है। उन्होंने दुनियाभर में भारतीय दूतावासों में उन लोगों के लिए सुविधा केंद्र बनाने की बात कही है, जो इलाज के लिए भारत आना चाहते हैं। मंडाविया ने ये भी कहा कि इन लोगों को वन स्टेप पोर्टल से इलाज के बारे में सारी जानकारी मिलेगी। ‘ब्रांड इंडिया का निर्माण’ को लेकर वरिष्ठ आईएफएस (IFS) अधिकारियों के साथ एक गोलमेज सम्मेलन को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री मंडाविया ने कहा कि विदेशों से जो लोग इलाज के लिए भारत आना चाहते हैं, उनकी सुविधा और विश्वसनीय जानकारी प्रदान करने के लिए एक ‘वन स्टेप’ पोर्टल स्थापित किया जाएगा।
विश्व स्तरीय चिकित्सा सुविधाओं की वजह से भारत एक आकर्षण
स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि भारत अपने उच्च स्वास्थ्य पारिस्थितिकी तंत्र और विश्व स्तरीय चिकित्सा सुविधाओं के साथ पूरी दुनिया के लिए एक आकर्षण का केंद्र बन गया है। उन्होंने कहा कि आज दुनिया के विभिन्न देशों से लोग बड़ी संख्या में इलाज के लिए भारत आ रहे हैं। मंडाविया ने बताया कि चिकित्सा पर्यटन को और बढ़ावा देने के उद्देश्य से भारत सरकार ने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में ‘हील इन इंडिया’ कार्यक्रम शुरू किया है। इसी तरह हमने ‘हील बाई इंडिया’ कार्यक्रम की शुरुआत की है। यह हमारे चिकित्सा कर्मचारियों को दुनिया भर में यात्रा करने और एक स्वस्थ वैश्विक समाज की दिशा में योगदान करने का अवसर प्रदान करेगा।
हम देश को वैश्विक चिकित्सा मूल्य केंद्र बनाने के लिए प्रतिबद्ध
मंडाविया ने कहा कि हम अपने पारंपरिक चिकित्सा उद्योग को और मजबूत करके और ‘हील इन इंडिया’ और ‘हील बाई इंडिया’ पहल को बढ़ावा देकर भारत को वैश्विक चिकित्सा मूल्य केंद्र बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने भारतीय दूतावासों में सुविधा केंद्र बनाने के साथ ही सुझाव दिया कि इसके अलावा भारत में इलाज करा रहे लोगों से फीडबैक या प्रशंसा-पत्र प्राप्त करने के लिए एक प्रणाली स्थापित की जा सकती है। इससे हमें मेडिकल टूरिज्म को ‘ब्रांड इंडिया’ बनाने में बड़ी मदद मिलेगी।
भारत एशिया में तेजी से बढ़ते चिकित्सा पर्यटन केंद्रों में से एक
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने चिकित्सा क्षेत्र में अन्य देशों के साथ समझौते करने पर जोर देते हुए ने कहा कि भारत का जापान के साथ कुशल नर्स उपलब्ध कराने का समझौता है। कुशल चिकित्सा जनशक्ति के लिए अन्य देशों के साथ भी इस तरह के समझौते किए गए हैं।
उन्होंने कहा कि चिकित्सा मूल्य पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए इस तरह की संभावनाओं का पता लगाया जाना चाहिए। मंडाविया ने आगे कहा कि पिछले कुछ वर्षों में भारत की चिकित्सा ने बहुत लोकप्रियता हासिल की है और भारत अब एशिया में सबसे तेजी से बढ़ते चिकित्सा पर्यटन केंद्रों में शामिल है।
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