करवा चौथ का व्रत पति पत्नी के अटूट प्रेम का प्रतीक माना जाता है। इस बार करवा चौथ का व्रत 17 अक्टूबर को मनाया जाएगा। हिंदू धर्म में करवाचौथ का व्रत बेहद अहम माना जाता है। इस व्रत को केवल सुहागिन महिलाओं ही करती है। पति की लंबी उम्र के लिए सुहागिनें निर्जला व्रत रखती है और चांद को अर्घ देने के बाद पति के हाथ से पानी पीकर इस व्रत को संपन्न करती हैं। आपको बता दें कि इस बार करवा चौथ का व्रत बेहद खास होने वाला है।
70 साल बाद बन रहा शुभ योग
इस बार 70 साल बाद बेहद शुभ संयोग बन रहा है। जो सुहागिन महिलाओं के लिए काफी लाभदायक रहेगा, खासकर उन महिलाओं के लिए जिनका इस बार पहला करवा चौथ होगा। इस बार रोहिणी नक्षत्र के साथ मंगल का योग करवा चौथ पर बन रहा है जो इसे बेहद मंगलकारी बना रहा है।
पहली बार व्रत रखने वाली महिलाओं के लिए होगा मंगलकारी
इस बार रोहिणी नक्षत्र और चंद्रमा में रोहिणी के योग से मार्कण्डेय और सत्याभामा का योग भी बन रहा है। जो सबसे अधिक फलदायी होगा। ये सबसे ज्यादा उन महिलाओं के लिए होगा जो पहली बार ये व्रत रखने जा रही हैं। करवा चौथ का व्रत सभी व्रतों में सबसे बड़ा व्रत माना जाता है।