सत्रहवीं लोकसभा के लिए देश में हाल में सम्पन्न हुए आम चुनावों के नतीजे सामने आ गए हैं। सन् 2014 की तरह इस बार भी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और उसके सहयोगी दलों को भारी बहुमत मिला है। बीजेपी को मिली 303 सीटों के साथ राष्ट्रीय लोकतांत्रितक गठबंधन (एनडीए) ने 352 सीटों पर जीत हासिल की। एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) के मुताबिक़, 542 में से 475 करोड़पति सांसद इस बार लोकसभा पहुंचे हैं। यानि 2019 में जीतकर आए 90 प्रतिशत से ज्यादा सांसद करोड़पति है। लेकिन इस चुनाव में एक शख़्स ऐसा भी जीतकर आया है जिसके पास रहने के लिए अपना स्वयं का घर नहीं है। वे एक छोटी सी कुटिया में रहते हैं। इसे देश का सबसे गरीब सांसद माना जा रहा है। आइये जानते हैं इनके बारे में विस्तार से..
प्रताप चन्द्र सारंगी सबसे गरीब सांसद
ओडिशा राज्य में इस बार बीजेपी ने अब तक का सबसे शानदार प्रदर्शन किया और लोकसभा की आठ सीटों पर जीत दर्ज की। इन्हीं में से एक देश के सबसे गरीब सांसद जीतकर आए हैं। इनका नाम है प्रताप चन्द्र सारंगी। ये 2019 के आम चुनाव में ओडिशा की बालासोर सीट से जीतकर पहली बार लोकसभा पहुंचे हैं। उन्होंने बीजू जनता दल (बीजेडी) के रबिन्द्र कुमार जेना को 12,956 वोटों से हराया। इससे पहले सारंगी को सन् 2014 में हुए लोकसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था। इससे पहले वे विधायक भी रहे चुके हैं।
सोशल मीडिया पर चर्चा में क्यों?
बालासोर से सांसद चुने गए प्रताप चंद्र सारंगी की इनदिनों सोशल मीडिया पर हर तरफ चर्चाएं हो रही है। उनके व्यक्तित्व से लोग उन्हें ओडिशा का मोदी कहने लगे हैं। सारंगी वर्षों से समाजसेवा में लगे हुए हैं। 64 वर्षीय सारंगी ने अभी तक शादी भी नहीं की है। वे एक कुटिया मे रहते है और उनकी आर्थिक हालत बेहद कमजोर है। बावजूद इसके सारंगी इस क्षेत्र की जनता पर मजबूत पकड़ रखते हैं। जमीन से जुड़ाव रखने वाला यह नेता वास्तव में बेहद सादगी के साथ जनता के बीच रह कर काम कर रहा है।
बचपन में संत बनाना चाहते थे स्नातक पास सारंगी
प्रताप चंद्र सारंगी का जन्म 4 जनवरी, 1955 को ओडिशा राज्य के बालासोर जिले के गोपीनाथपुर में एक गरीब परिवार में हुआ। उनके बारे में कहा जाता है कि वे बचपन से ही बेहद आध्यात्मिक प्रवृति के रहे हैं। प्रताप चंद्र सारंगी ने उत्कल यूनिवर्सिटी के फकीर कॉलेज से सन् 1975 में अपनी स्नातक की डिग्री उत्तीर्ण की। उनके बारे में यह भी कहा जाता है कि वे बचपन में रामकृष्ण मठ में साधु बनना चाहते थे। इसके लिए वो कई बार बेलूर मठ भी गए थे। लेकिन जब मठ वालों को पता लगा कि उनके पिता नहीं है और उनकी मां अकेली हैं, तो मठ वालों ने उन्हें मां की सेवा करने के लिए मना लिया था।
पीएम मोदी खुद करते हैं मुलाकात, दो बार विधायक रह चुके
प्रताप चंद्र सारंगी ओडिशा के बालासोर जिले के नीलगिरी विधानसभा क्षेत्र से 2004 से 2014 तक लगातार दो बार विधायक रहे चुके हैं। 2014 में वह बीजेपी के टिकट पर बालासोर लोकसभा सीट से चुनाव लड़े थे। लेकिन पहली बार में उन्हें सफलता नहीं मिली। इस बार उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी बीजेडी के रबिन्द्र कुमार जेना को मात दी है। सारंगी के बारे में कहा जा जाता है कि वे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के करीबी हैं। पीएम मोदी जब भी ओडिशा जाते हैं तो उनसे मुलाकात किए बिना नहीं लौटते हैं।
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सारंगी ने बालासोर और मयूरभंज जिले के आदिवासी इलाकों में कई स्कूल बनवाने का काम किया है। वे खुद किसी किसी लक्ज़री कार या बाइक पर नहीं बल्कि साइकिल से चलते हैं। यही कारण है कि बेहद साधारण जीवन जीने वाले और सबसे गरीब सांसद प्रताप चंद्र सारंगी इन दिनों सोशल मीडिया पर छाए हुए है।