दुनिया की सबसे मूल्यवान कंपनी में जहां एक टाइम पर एप्पल (Apple) का नाम शामिल था। वहीं अब इसकी जगह माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft) ने ली है। दरअसल, वर्ष 2024 की शुरुआत एप्पल के लिए उतना खास नहीं रहा। वर्ष की शुरुआत में ही एप्पल के शेयरों में गिरावट देखने को मिली थी।
आईफोन निर्माता एप्पल का क्रेज पूरी दुनिया में छाया है। लेकि, कंपनी के शेयरों में आई गिरावट के बाद कंपनी के एमकैप में भी नरमी देखने को मिली है। अब एप्पल की जगह रेडमंड, वाशिंगटन में स्थित माइक्रोसॉफ्ट ने ले ली है। Microsoft के शेयरों में 1.6 फीसदी की तेजी आई। इसके बाद कंपनी के बाजार मूल्यांकन में 2.875 ट्रिलियन डॉलर जुड़ गए।
माइक्रोसॉफ्ट को जनरेटिव आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (generative AI) की वजह से लाभ हुआ। इस क्रांति ने निवेशकों को शेयर के प्रति आकर्षित किया। अब माइक्रोसॉफ्ट का बाजार पूंजीकरण में 2.871 ट्रिलियन डॉलर जुड़ गए। यह एप्पल के एमकैप से 0.9 फीसदी ज्यादा है। वर्ष 2021 के बाद पहली बार माइक्रोसॉफ्ट का एमकैप एप्पल से ज्यादा हुआ है।
माइक्रोसॉफ्ट के शेयर
एप्पल का स्टॉक पिछले बंद के मुकाबले 3.3 फीसदी गिरकर बंद हुआ। वहीं, माइक्रोसॉफ्ट के शेयर में 1.8 फीसदी की तेजी आई है।
डीए डेविडसन के विश्लेषक गिल लूरिया ने कहा कि यह आश्चर्यचनक है कि माइक्रोसॉफ्ट एप्पल से आगे बढ़ गया है। माइक्रोसॉफ्ट के स्टॉक में लगातार तेजी देखने को मिल रही है। कंपनी को जनरेटिव आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की क्रांति से लाभ मिल रहा है।
वहीं, एप्पल के स्टॉक की गिरावट की वजह कमजोर रेटिंग है। यह कंपनी के लिए चिंता का विषय है। इसका असर आईफोन की बिक्री पर भी पड़ेगा। सबसे ज्यादा असर आईफोन के प्रमुख बाजार चीन में पड़ सकता है।
14 दिसंबर 2023 को एप्पल का एमकैप 3.081 ट्रिलियन डॉलर था। उस समय एप्पल दुनिया की सबसे मूल्यवान कंपनी थी। 2023 के अंत में एप्पल के शेयर 48 फीसदी की तेजी के सथ बंद हुए थे।