कोरोना महामारी के संकट के बीच भारतीय खेल जगत के लिए एक बुरी ख़बर आई है। दरअसल, पूर्व नेशनल टेबल-टेनिस चैम्पियन मनमीत सिंह वालिया का निधन हो गया। उन्होंने 58 साल की उम्र में कनाडा के मॉनट्रियल में सोमवार को अंतिम सांस लेते हुए इस दुनिया को अलविदा कह दिया।जानकारी के अनुसार, पूर्व खिलाड़ी मनमीत सिंह वालिया पिछले 2 साल से एमियोट्रोफिक लेटरल स्क्लेरोसिस (एएलएस) बीमारी से जूझ रहे थे। इस बीमारी के कारण इंसान की मांसपेशियां धीरे-धीरे कमजोर होने लगती हैं। बता दें, मनमीत ने भारत आकर अपना इलाज कोयंबटूर में भी करवाया था।
80 के दशक में नेशनल चैम्पियन बने थे मनमीत
उल्लेखनीय है कि मनमीत सिंह वालिया ने 80 के दशक में बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए वर्ष 1989 में नेशनल चैम्पियनशिप का खिताब अपने नाम किया था। उन्होंने तब हैदराबाद के एस श्रीराम को फाइनल में हराया था। मात्र 18 साल की उम्र में मनमीत वर्ल्ड रैकिंग में 13वें नंबर पर पहुंच गए थे। उन्होंने 1980 में 8 बार के राष्ट्रीय चैम्पियन कमलेश मेहता के साथ एशियाई चैम्पियनशिप में अपना पहला अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंट खेला। इस टीम में उनके अलावा बी अरुण कुमार, मंजीत सिंह दुआ और वी चंद्रशेखर भी शामिल थे। एशियाई चैम्पियनशिप टूर्नामेंट में भारतीय टीम पांचवें स्थान पर रही थीं।
टीटीएफआई ने मनमीत के निधन पर जताया शोक
टेबल-टेनिस फेडरेशन ऑफ इंडिया यानी टीटीएफआई के महासचिव एमपी सिंह ने मनमीत सिंह वालिया के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि टेबल टेनिस परिवार के लिए दुखद क्षण है। टीटीएफआई के पूर्व महासचिव और इंटरनेशनल टेबल-टेनिस फेडरेशन (आईटीटीएफ) के बोर्ड मेंबर धनराज चौधरी ने कहा है कि टेबल-टेनिस ने एक अच्छा खिलाड़ी और बेहतरीन इंसान खो दिया।
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आपकी जानकारी के लिए बता दें, पूर्व खिलाड़ी मनमीत सिंह वालिया टेबल टेनिस से संन्यास लेने के बाद परिवार समेत कनाडा जाकर बस गए थे। वे परिवार में पत्नी और दो बेटियां अपने पीछे छोड़कर गए हैं।