मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जयपुर में मुख्यमंत्री निवास पर राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण की बैठक लेते हुए कहा है कि राज्य में लॉक डाउन के आदेशों की सख्ती से पालना करवाना होगा। उन्होंने आगे कहा कि प्रदेश में कोरोना के संक्रमण की स्थिति को नियंत्रित करने के लिए संकट काल में आदेशों की जमीनी स्तर पर सख्ती से पालना करवाने की बड़ी चुनौती हमारे सामने है।
लॉक डाउन ही कड़वा और उचित इलाज-गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस मीटिंग में कहा कि महामारी के कारण प्रदेश के साथ पूरी दूनिया में ही हालात चिंताजनक है और लॉक डाउन ही इसका कड़वा लेकिन उचित इलाज है। संक्रमण के डर के साथ लॉक डाउन के कारण मजदूरों और गरीब वर्ग के परिवारों को पलायन के दौरान भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
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‘राजस्थान में कोरोना संक्रमण की स्थिति फिलहाल नियंत्रण में’
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य में कोरोना संक्रमण की स्थिति फिलहाल नियंत्रण में है मगर विशेषज्ञों का कहना है कि बड़ी संख्या में लोगों को संक्रमित होने से बचाने के लिए सामाजिक दूरी बनाये रखना अति आवश्यक उपाय है। उन्होंने कहा कि इस दौरान लंबे समय तक लॉक डाउन की स्थिति बने रहने से राज्य में रोजगार और भोजन-पानी का संकट बढ़ने के साथ कानून व्यवस्था की चुनौतियां भी बढ़ेंगी जिसे हमें संवेदनशीलता और दूरदर्शिता से निपटना होगा।
महामारी के चलते चिकित्सकों व पैरा-मेडिकल कार्मिकों की सेवानिवृति बढ़ाई
राज्य सरकार नेे कोरोना वायरस महामारी से पूरी तरह निपटने के लिए 31 मार्च से 31 अगस्त 2020 की अवधि के बीच सेवानिवृत होने वाले सभी चिकित्सकों, स्वास्थ्य अधिकारियों और पैरा-मेडिकल कार्मिकों की सेवानिवृति को 30 सितंबर तक बढ़ाने का निर्णय लिया है। इस निर्णय का बैठक के दौरान ही अनुमोदन किया गया। बैठक में उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट, शहरी विकास मंत्री शांति धारीवाल, आपदा प्रबंधन मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा, कृषि मंत्री लालचंद कटारिया, सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना, परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री रमेश मीणा सहित विभिन्न विभागीय आला अधिकारी भी मौजूद रहे।