बॉलीवुड में कलाकार तो बहुत से हैं, मगर वो कलाकार जिन्हें मल्टी-टैलेंटेड कहा जा सके, कम ही मिलेंगें। किसी को एक्टिंग का पैशन है, तो किसी का डायरेक्शन कमाल का है। मगर फरहान अख्तर एक ऐसा नाम है, जिनके लिए कोई भी काम नामुमकिन नहीं है। फरहान सिर्फ अपनी एक्टिंग के लिए ही नहीं बल्कि डायरेक्शन, फिल्म प्रोड्यूसिंग, सिंगिंग, राइटिंग जैसे कई कामों के लिए मशहूर हैं।
फरहान आम कॉन्सेप्ट से हटकर फिल्मों में काम करने और उसी तरह की फिल्में बनाने के लिए जाने जाते हैं। उनके डायरेक्शन में बनी फिल्म ‘दिल चाहता है’ और ‘लक्ष्य’ इसका एक उदाहरण है। वहीं, ‘जिंदगी ना मिलेगी दोबारा’, ‘रॉक ऑन’ जैसी फिल्मों में भी उन्होंने अपनी एक्टिंग से सबको अपनी एक और खासियत का नमूना दिया। वर्ष 1974 में लेखक-गीतकार जावेद अख्तर की पहली पत्नी हनी ईरानी से जन्मे फरहान अख्तर 9 जनवरी को अपना 46वां जन्मदिन मना रहे हैं।
बहुत कम लोग जानते हैं कि फरहान अख्तर ने साल 2013 में एक खास इनिशिएटिव शुरू किया था, जिसका नाम है ‘मर्द (मैन अगेन्स्ट रेप एंड डिस्क्रिमिनेशन)।’ अपने इस प्रयास के ज़रिये वो समाज में रेप और जेंडर डिस्क्रिमिनेशन के प्रति जागरूकता फैलाने का प्रयास करते हैं। वहीं वो पिछले काफी समय से अपने म्यूजिक बैंड फरहान अख्तर लाइव के ज़रिये भी इस विषय के बारे में लोगों और खास तौर पर युवाओं के बीच अवेयरनेस फैलाने का प्रयास करते हैं।
इस इनिशिएटिव को काफी क्रिएटिव अंदाज़ में लोगों तक पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा है। जहां एक ओर वो अपने म्यूजिक बैंड का इस्तेमाल कर लोगों तक पहुंच रहे हैं। वहीं इसके लिए जावेद अख्तर ने एक कविता भी लिखी थी। जिसे फरहान की आवाज़ में मर्द के आॅफिशियल यूट्यूब हैंडल से शेयर किया गया था। ये कविता बता रही है कि एक सच्चा और अच्छा मर्द वही होता है, जो महिलाओं की इज़्जत करना जानता है। यहां देखिए इस कविता की खास पंक्तियां :
जिसकी आंखों में है, जगमगाती हुई जैसे गहरी शराफत की एक रोशनी,
जिसके अंदाज़ में एक तहज़ीब है,
जिसके लहज़े में नर्मी है, शब्दों में तमीज़ है,
जिसके दिल में भी और जिसकी बातों में भी,
औरत के वास्ते पूरी इज़्जत भी है और पूरा आदर भी है,
जिसको औरत के तन—मन का और जीवन का सम्मान है,
औरत के आत्म सम्मान का जिसको हर एक पल ध्यान है,
जो कभी एक पल भी नहीं भूलता, औरत इंसान है,
जिसको अपनी भी पहचान है,
जिस में शक्ति भी है, जिसमें हिम्मत भी है,
जिसमें गौरव है, आत्म विश्वास है
जो अगर साथ है, जो अगर पास है,
उसके होने से औरत को अपनी सुरक्षा का एहसास है,
वो जो औरत का एक सच्चा साथी है, इक दोस्त है, एक हमदर्द है,
सच तो ये है, वही मर्द है।
फरहान अख्तर ने ये कैम्पेन पल्लवी पुरकायस्था के साथ अगस्त 2012 में हुई घटना से प्रभावित होकर शुरू किया था। दरअसल पल्लवी मुम्बई की रहने वाली एक वकील थीं, जिन्हें अपनी ही बिल्डिंग के वॉचमैन की हैवानियत का शिकार होना पड़ा था और जब उन्होने खुदको बचाने का प्रयास किया तो वॉचमैन ने उनकी अमानवीय हत्या कर दी थी। इस घटना ने काफी लोगों के मन में सवाल पैदा कर दिए थे। जिसके बाद फरहान ने ये कैम्पेन शुरू किया।
वहीं पिछले साल 20818 में फरहान अख्तर ने एक शॉर्ट फिल्म भी रिलीज़ की थी। ‘शी’ नाम से रिलीज़ हुई इस फिल्म में दिखाने की कोशिश की गई है कि एक लड़की दिन भर में किस-किस तरह के लोगों से सामना करती है। फिल्म में एक लड़का, लड़की के गैटअप में सड़क पर निकलता है। इसके बाद उसे छेड़छाड़, भद्दे कमेंट्स जैसी कई चीजों का सामना करना पड़ता है, जो कि उसे एहसास कराता है कि लड़कियों के लिए इन सब का सामना करना मुश्किल होता है। इस शॉर्ट फिल्म को भी दर्शकों का काफी अच्छा रेस्पांस मिला।
एक तरफ जहां मीटू मूवमेंट ने इंडस्ट्री के कई लोगों की असलियत सबके सामने लाकर रख दी है, वहीं फरहान अख्तर जैसे कुछ लोग हैं, जो बदलाव की उम्मीद के साथ मर्द तैयार कर रहे हैं। साल 2019 में फरहान फिल्म ‘द फ़कीर ऑफ़ वेनिस’ और ‘द स्काई इज़ पिंक’ में नज़र आए थे, लेकिन ये दोनों ही फिल्में फ्लॉप रहीं।
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फरहान के अपकमिंग बॉलीवुड प्रोजेक्ट की बात करें तो वर्ष 2020 में उनकी फिल्म ‘तूफ़ान’ रिलीज़ होगी। हाल में वे सीएए पर एक बयान देकर सोशल मीडिया पर ट्रोल हो गए थे। फरहान अख्तर अपनी पहली पत्नी अधुना भावानी को तलाक़ दे चुके हैं। वे इनदिनों शिवानी दांडेकर के साथ रिलेशनशिप में हैं।
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